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Last Modified: बुधवार, 28 सप्टेंबर 2022 (13:11 IST)

Durga Devi Aarti श्री दुर्गा देवीची आरती

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Durga Devi Aarti श्री दुर्गा देवीची आरती
दुर्गे दुर्गटभारी तुजविण संसारी
अनाथनाथे अंबे करुणा विस्तारी
वारी वारी जन्म मरणांतें वारी
हारी पडलो आता संकट निवारी
जय देवी जय देवी महिषासुरमथिनी
सुरवर ईश्वरदे तारक संजीवनी
जय देवी जय देवी
 
त्रिभुवनी भुवनी पाहता तुज ऐसे नाही
चारी श्रमले परंतु न बोलवे काही
साही विवाद करता पडले प्रवाही
ते तू भक्तांलागी पावसि लवलाही
जय देवी जय देवी
जय देवी जय देवी महिषासुरमथिनी
सुरवर ईश्वरदे तारक संजीवनी
जय देवी जय देवी
 
प्रसन्नवदने प्रसन्न होशी निजदासा
क्लेशापासुन सोडवी तोडी भवपाशा
अंबे तुजवाचून कोण पुरवील आशा
नरहरि तल्लिन झाला पदपंकजलेशा
जय देवी जय देवी
जय देवी जय देवी महिषासुरमथिनी
सुरवर ईश्वरदे तारक संजीवनी
जय देवी जय देवी